Friday, Sep 29, 2023
-->
Cheap brands of ghee and butter were sold in wrappers of Amul brand, five arrested

अमूल ब्रांड के रैपर में बेच रहे थे सस्ते ब्रांड के घी और मक्खन, पांच गिरफ्तार

  • Updated on 6/4/2023

 

नई दिल्ली, टीम डिजीटल: अगर आप नोएडा, गाजियाबाद या नोएड से सटे दिल्ली के इलाकों में सडक़ के किनारे बने ढाबे, वेंडर जोन, सेक्टर में लगने वाली रेहड़ी पटरी, ढाबे पर पराठे, मैगी, आमलेट और चोखा बाटी में अमूल घी या अमूल मक्खन से बनता देख कर खा रहे है तो जरा सावधान हो जाए क्यों कि हो सकता है कि उसमें अमूल का रैपर असली हो लेकिन अंदर जो घी या मक्खन हो वह बेहद ही सस्ते ब्रांड का हो। जो आप के स्वास्थ्य पर सीधा असर डाल सकता है। फेज थ्री थाना पुलिस ने  अलग-अलग बेहद ही सस्ते ब्रांड के घी और मक्खन को अमूल के रैपर में पैक कर बाजार में खपाने का वाले गिरोह का खुलासा करते हुए पांच आरोपियों को रविवार को गिरफ्तार कर लिया। जो कि सेक्टर-70 स्थित किराये के मकान में मक्खन और घी की पैकिंग और पैकेजिंग का कारोबार बीते पांच माह से चला रहे थे। इस मामले में अन्य छह आरोपी अभी भी पुलिस की पकड़ से बाहर हैं। आरोपियों की निशानदेही पर करीब पांच कुंतल नकली घी और मक्खन पुलिस ने बरामद किया है। नकली मक्खन और घी की आपूर्ति नोएडा के अलावा उससे सटे दिल्ली के इलाकों व गाजियाबाद में भी की जाती थी। 
सेंट्रल जोन के डीसीपी रामबदन सिंह ने बताया कि अलग-अलग नामी कंपनी के प्रतिनिधियों की ओर से समय-समय पर उनके कंपनी के नाम पर नकली उत्पाद की आपूर्ति बाजार में होने की सूचना पुलिस को मिलती रहती है। बीते दिनों पुलिस को सूचना मिली कि फेज तीन थानाक्षेत्र में नकली घी और मक्खन बनाकर बेचा जा रहा है। सूचना पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने सेक्टर-70 स्थित एक मकान पर छापा मारकर पुलिस ने बिहार के शेखपुरा के संजय कुमार, बागपत के बिनौली के राजकुमार, गाजियाबाद के भोजपुर के आसिफ और साजिद व हापुड़ के दीपक मल्होत्रा को गिरफ्तार कर लिया। पांचों अलग-अलग ब्रांड के नकली घी और मक्खन को नामी कंपनी के रैपर में पैक कर बाजार में खपा रहे थे। 

दिल्ली के खारी बावली से लाते थे अमूल के रैपर, न्यू कोंडली से सस्ता घी व मक्खन 
डीसीपी ने बताया कि गिरोह का सरगना संजय और राजकुमार है। दोनों दिल्ली के खारी बावली से अमूल के नकली रैपर बार कोड सहित थोक के भाव में लेकर आते थे। कम गुणवत्ता वाले मक्खन और घी को आरोपी नोएडा से सटे दिल्ली के थोक मार्केट न्यू कोंडली से लाते थे। मक्खन की सौ ग्राम का पैकेट 12 से 14 रुपये में इन्हें मिलता था। जिसे लेकर  सेक्टर-70 में अमूल का रैपर चढ़ाया जाता था। जिस पर प्रिंट रेट 56 रुपये होता था। ऐसे में चार गुना मुनाफा कमाने में गिरोह व्यस्त था। एजेंट के माध्यम से संजय और राजकुमार इसकी आपूर्ति नोएडा और गाजियाबाद में करते थे। यह एजेंटों के माध्मय से दुकानदार को पचास रुपये तक या जो उनके गोरखधंधे को जानता था उसे 40 रुपये तक में दे देते थे। पुलिस के मुताबिक 90 प्रतिशत आपूर्ति रेहड़ी और ठेले वाली दुकानों पर की जाती थी। इसमें एक्सपाइरी डेट का भी ध्यान नहीं रखा जाता था।

अमूल के हर रैपर पर था एक ही क्यूआर कोड
जांच में सामने आया है कि आरोपियों के पास से अमूल के जो हजारों रैपर बरामद हुए हैं,सभी का क्यूआर कोड एक जैसा ही था। अगर कोई ग्राहक उस क्यूआर कोड को स्कैन करे तो वह अमूल का ही सारा ब्यौरा फौरन दे देता था। ग्राहक को जिसके चलते अमूल ब्रांड के अंदर हो रहे गोलमाल का पता नहीं चल पता था। आरोपियों ने हर माह पांच कुंतल नकली घी और मक्खन की आपूर्ति करने का टारगेट फिक्स कर रखा था। दिल्ली से हर तीसरे दिन मक्खन और घी लाया जाता था। खाद्य विभाग अधिकारी डॉ. शमसुन नेहा ने बताया कि फर्जी तरीके से अमूल के नाम पर घी और मक्खन बेचने वाले गिरोह के पास से जो उत्पाद मिले हैं उसका सैंपल लेकर जांच के लिए भेजा गया है। रिपोर्ट आते ही इस मामले में कार्रवाई की जाएगी।

यह सस्ते मक्खन व घी देते है हार्ट, पेट दर्द के साथ मतली की समस्या
खाद् विभाग की अधिकारी डा. शमसुन नेहा ने बताया कि नकली देसी घी या मक्खन का अधिक मात्रा में सेवन करने से पेट संबंधी दिक्कतें जैसे अपच और दस्त की समस्या हो सकती है। साथ ही यह हृदय, गुर्दे और श्वसन तंत्र को भी प्रभावित करता है। इससे किडनी में खराबी हो सकती है। पेट दर्द, मतली, मुंह में जलन आदि समस्याएं हो सकती हैं। वह उनका विभाग समय समय पर रेहडी पटरी पर खाद्द्य साम्रगी बेचने वालों पर भी सैंपल लेकर कार्रवाई करता है। इस प्रकरण के बाद अब एक विशेष अभियान चलाया जायेगा। 

comments

.
.
.
.
.