Saturday, Sep 30, 2023
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आईटीपीओ कर्मचारियों ने समस्याओं को लेकर उठाई आवाज

  • Updated on 7/22/2022

आईटीपीओ कर्मचारियों ने समस्याओं को लेकर उठाई आवाज
 

नई दिल्ली 22 जुलाई (नवोदय टाइम्स): आईटीपीओ कर्मचारी यूनियन ने प्रगति मैदान, सभागार में बैठक का आयोजन किया जिसमें यूनियन के अध्यक्ष राजेंद्र सिंह पाल एवं महासचिव जयसिंह ने आईटीपीओ कर्मचारियों के हाउस रेंट अलाउंस, स्वैच्छिक भविश्य निधि, पदोन्नति, एसीपीउ स्कीम कैंटीन व अन्य सुविधाओं की कटौती को गलत व बेवजह बताया।

उन्होने कहा कि ये सभी कटौती यूनियन से हुए करार एवं अन्य कर्मचारी हित कानून जैसे कर्मचारी निधि, महिला संरक्षण कानूनों के विरूद्ध है। जबकि कंपनी निदेशकों और प्रतिनियुक्ति पर आए अधिकारियों की कोई कटौती नहीं हो रही है। वहींं प्रगति मैदान में चल रहे आईईसीसी प्रोजेक्ट को लेकर चर्चा हुई।

कर्मचारियों का कहना था कि प्रबंधन इस प्रोजेक्ट में धन मनमाने तरीके से खर्च कर रहा है, जबकि इस प्रोजेक्ट में अनेकों त्रुटियां जैसे भार वहन एवं विद्युत वहन क्षमता की कमी है, जिसको सुधारने के लिए भविश्य में अतिरिक्त रिपेयर्स एवं धन की आवश्यकता पड़ेगी। आईटीपीओ प्रबंधन इस संबंध में कंपनी के निदेशक मंडल और भारत सरकार को सही रिपोर्ट नहीं दे रहा है।

भारत सरकार ने इस प्रोजेक्ट के लिए आईटीपीओ को अपने संचय किए हुए धन से 1200 करोड़ की स्वीकृति दी थी जबकि प्रबंधन ने अपने संचित धन में से 1700 करोड़ का उपयोग कर लिया है और कर्मचारियों को दी जाने वाली वित्तीय सुविधाओं का ध्यान नहीं रखा। 

आईटीपीओ प्रबंधन के रवैये के चलते इस मंहगाई के दौर में औसतन 15 हजार से 20 हजार रुपए प्रति माह प्रत्येक कर्मचारी का नुकसान हो रहा है।  इससे कर्मचारियों में भारी रोश है। इन सभी मांगों की लगातार अनदेखी किये जाने के कारण यूनियन को न्याय हेतु इसकी शिकायत श्रमायुक्त को करने को बाध्य हुई और यह मामला अगली सुनवाई के लिए लंबित है।
 

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