विदेशों में ओमीक्रोन के फैलने के साथ ही देश के एयरपोर्ट पर बढ़े भीड़ - राजधानी दिल्ली के आईजीआई एयरपोर्ट पर ही हाई रिस्क देशों से दिसंबर में आ चुके हैं 16 हजार यात्री - मंगलवार शाम तक एक दिन में पहुंचे थे 1300 से अधिक यात्री, सोमवार को पहुंचे थे 2700 यात्री नई दिल्ली/मुकेश ठाकुर। दुनिया भर में खासकर अफ्रीकी और कुछ यूरोपियन देशों में कोरोना के नए वेरिएंट ओमिक्रोन के फैलने के साथ ही देश वापस लौटने वालों की संख्या भी बढ गई है। इसके साथ ही भारत सरकार ने सुरक्षा को देखते हुए हाई रिस्क वाले देशों से आने वाले यात्रियों के लिए कई नए नियम लागू कर दिए। इसमें एक नियम आरटी पीसीआर जांच व बिना जांच रिपोर्ट के टर्मिनल से बाहर जाने पर प्रतिबंध है। 1 दिसंबर से लागू इस नियम के बाद से ही अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर यात्रियों की भीड़ लगनी शुरू हो गई है। इसमें देश ही नहीं दुनिया का सबसे व्यस्त राजधानी दिल्ली का आईजीआई एयरपोर्ट भी है। आंकड़ों के अनुसार एक दिसंबर से अब तक हाई रिस्क वाले देशों से आने वाले यात्रियों की संख्या 16 हजार के पार पहुंच गई है। लगातार इसमें बढ़ोतरी दर्ज की जा रही है। मंगलवार दोपहर तक पहुंच चुके थे 13 सौ यात्री भारत पहुंचने वाले यात्रियों की भीड़ का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि मंगलवार को तडक़े सुबह से दोपहर 3 बजे करीब 13 सौ यात्री आईजीआई एयरपोर्ट पर पहुंच चुके थे। ये सभी यात्री भारत सरकार द्वारा चिन्हित हाई रिस्क वाले देशों से अलग-अलग 8 विमानों से दिल्ली पहुंचे थे। विमानों के आने का सिलसिला लगातार जारी है। वहीं, सोमवार को आईजीआई एयरपोर्ट पर 14 अलग-अलग विमानों से करीब 27 सौ यात्री दिल्ली पहुंचे थे। यात्रियों की लगातार बढ़ रही तादाद को देखते हुए एयरपोर्ट पर सुविधाओं के विस्तार की आगे और जरूरत पड़ सकती है। फिलहाल बढ़ी हुई सुविधाओं के बीच यात्रियों की शिकायतें पहले के मुकाबले कम तो हुई है लेकिन पूरी तरह खत्म नहीं हुई हैं।
केंद्रीय उड्डयन मंत्री कर रहे सुविधाओं का निरीक्षण इधर रविवार को बढ़ते यात्रियों की भीड़ व हो रही देरी के कारण कई यात्रियों ने अपनी नाराजगी सोशल मीडिया पर जाहिर की थी। कई फोटो भी वायरल हुए थे। इसके बाद खुद केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया आईजीआई एयरपोर्ट पहुंच सुविधाओं का जायजा लिया था। इसके बाद से ही वह एयरपोर्ट ऑपरेटर दिल्ली इंटरनेशनल एयरपोर्ट (डायल) व अन्य एजेंसियों के साथ बढ रहे भीड़ को देखते हुए कोविडप्रोटोकॉल को लागू करने, जारी आदेश के भी लागू करने के साथ ही यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखने के लिए अपनाए जाने वाले उपायों पर चर्चा कर रहे हैं। साथ ही उसका निरीक्षण भी कर रहे हैं। मशीनों के साथ ही जांच कर्मियों की भी बढ़ी संख्या यात्रियों की भीड़ को देखते हुए आईजीआई एयरपोर्ट पर बनाए गए कोविड जांच लेबोरेटरी में रैपिड जांच के लिए मशीनों की संख्या बढ़ा दी गई है। सिके साथ ही इसके लिए टेक्नीशियन की भी संख्या को बढ़ा दी गई है। पर संसाधनों के बढऩे के बावजूद भीड़ के लिए नाकाफी साबित हो रहे हैं। यात्रियों की शिकायत थी कि रैपिड जांच के नतीजों के इंतजार में अभी अभी करीब डेढ़ से दो घंटे का वक्त लग रहा है। संसाधनों के बढऩे का असर दिख रहा है। साधारण टेस्ट में करना पड़ रहा है 8 घंटे से ज्यादा का इंतजार दिल्ली एयरपोर्ट पर रैपिड आरटी पीसीआर टेस्ट के अलावा, यात्रियों के पास एक और विकल्प भी है, जिसमें सिर्फ 500 रुपये अदा करने पड़ रहे हैं, लेकिन रिपोर्ट के लिए अधिकतम 8 घंटे तक का इंतजार करना पड़ रहा है। 12 से 24 घंटे तक का सफर तय करके दिल्ली एयरपोर्ट लौट रहे यात्री पहला विकल्प चुनने के लिए ही मजबूर हैं, जिसके लिए उन्हें 3500 रुपये देने पड़ रहे हैं। यही नहीं कुछ देशों ने आरटी पीसीआर रिपोर्ट के साथ फ्लाइट पकड़ने से 4 घंटे पहले का रैपिड टेस्ट भी अनिवार्य किया हुआ, जिसके लिए मेट्रो सेंटर में डायल की तरफ से व्यवस्था की गई है,लेकिन इसमें भी अच्छी खासी भीड़ है नतीजतन यात्रियों को 6 से 8 घंटे का लंबा इंतजार करना पड़ रहा है।
निर्धारित समय से पहले फ्लाइट लैंड होना भी एक परेशानी आईजीआई एयरपोर्ट पर हाई रिस्क देशों से आने वाली फ्लाइट्स के शेड्यूल के अनुसार ही सारी सुविधाएं तैयार की जा रही है। अंतरराष्ट्रीय टर्मिनल -3 पर आने वाले यात्रियों के बैठने की व्यवस्था से लेकर उनकी जांच और उनके खाने पीने तक की व्यवस्था शामिल है। पर इस दौरान देखा जा रहा है कि कई बार कई फ्लाइट्स अपने निर्धारित शेड्यूल से पहले पहुंच जा रही है। इसमें कुछ तो दो से तीन घंटा पहले ही पहुंच रही हैं। साथ ही पीक आवर्स में यहां एक साथ कई सारी फ्लाइट आ जाती हैं। ऐसे में पहले से ही अधिक यात्रियों के कारण धीमी पड़ी प्रक्रिया और प्रभावित हो जाती है। इसके लिए एयरपोर्ट अधिकारी संबंधित एयरलाइंस, एटीसी और फ्लाइट शेड्यूल देने वाली एजेंसियों के बीच ऐसा तालमेल बनाने में लगे हैं। ताकि एक ही वक्त में क्षमता से अधिक फ्लाइट टी-3 पर लैंड ना करें। -
इमिग्रेशन जोन एरिया यात्रियों की संख्या के अनुरूप छोटा पिछले दिनों टी-3 के इमिग्रेशन जोन में यात्रियों की भारी भीड़ जमा होने का फोटो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुआ। इसके बारे में एयरपोर्ट सूत्रों का कहना है कि यात्रियों की जमा हुई इस भारी भीड़ के दो अहम कारण रहे। पहला, एक ही वक्त में 7-8 इंटरनेशनल फ्लाइट ने टी-3 पर लैंड कर लिया था। इतने यात्रियों के लिए इमिग्रेशन जोन छोटा पड़ गया। टी-3 का इमिग्रेशन जोन यहां यात्री क्षमता के लिहाज से छोटा पड़ रहा है। इसके अलावा कुछ यात्रियों ने इमिग्रेशन क्लियरेंस में देरी लगने की भी बात कही।
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