Friday, Jun 09, 2023
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आने वाले खाद्य कानून से एक्सपर्ट्स नहीं हैं खुश, दे रहे हैं चेतावनी

  • Updated on 5/20/2020

नई दिल्ली/ टीम डिजिटल। लॉकडाउन में देश के आर्थिक स्थिति को सुधारने के लिए केंद्र सरकार ने 20 लाख करोड़ के वित्तीय पैकेज की घोषणी की थी। जिसमें सरकार ने कई किसानों के लिए कई तरह की लोन व्यवस्था की थी। इसके अलावा सरकार ने निर्णय लिया था कि वह आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955, एग्री प्रोड्यूस मार्केट कमेटी (APMC) में बदलाव के लिए अध्यादेश लाने की बात कही है।  

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इसका फायदा किसानों को मिलेगा
इस बिल में सुधार की घोषणा के बाद किसानों का कहना है कि इसका फायदा किसानों को मिलेगा और अब वह अपनी मर्जी से अपनी फसल को किसी को भी बेच सकेंगे। आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 में संशोधन कर उपज अनाज से लेकर तिलहन की अधिकतम मात्रा रखने के संबंध में जारी प्रतिबंध को खत्म कर दिया जाएगा। इससे किसान अब स्टॉक भी कर सकेगा। 

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बदहाली का भी बन सकता है कारण
इस पूरे मसले पर किसान यूनियन महासचिव धर्मेंद्र मलिक कहत हैं कि सरकार अब किसानों को  किसी व्यक्ति को अनाज जमा करने का अधिकार देने जा रही है। इससे शुरु में तो किसानों को अच्छा लगेगा मगर बाद में यह पूरी कृर्षि अर्थव्यवस्था को चौपट कर देगा। उद्योगपति इससे कंट्रोल करने लगेंगे। स्टॉक करने से अनाज मार्केट के हिबास से फायदा उठाएंगे कहीं ऐसा न हो किसान की खुशहाली के लिए लाया गया कानून उसकी बदहाली का कारण बन जाए।  

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