Monday, May 29, 2023
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farmers protest congress claims agricultural laws are against all sections of society pragnt

Farmers Protest: कांग्रेस ने किया दावा, समाज के सभी वर्गों के खिलाफ हैं कृषि संबंधी कानून

  • Updated on 12/5/2020

नई दिल्ली/टीम डिजिटल। केंद्र के नए कृषि कानूनों (Farm Laws) के खिलाफ देश के कई राज्यों के किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। वहीं सरकार के साथ आज यानी शनिवार को होने वाली पांचवें दौर की बातचीत से पहले किसानों ने अपना रूख और सख्त कर लिया है। इस बीच कांग्रेस (Congress) के वरिष्ठ नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला (Randeep Singh Surjewala) ने दावा किया कि केंद्रीय कृषि कानून समाज के सभी वर्गों के खिलाफ हैं और इनके लागू होने से कुछ कंपनियां मनमाने ढंग से अनाज का दाम तय करेंगी।

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सुरजेवाला ने शुक्रवार को पार्टी की एक डिजिटल परिचर्चा में कहा, 'मोदी सरकार के ये काले कानून केवल किसान के खिलाफ नहीं हैं। ये काले कानून इस देश के आम जन-मानस, मध्य वर्ग, निम्न मध्य वर्ग, गरीब, मजदूर सभी वर्गों के खिलाफ हैं।'

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कांग्रेस ने दागे सवाल
उन्होंने सवाल किया, 'देश में 62 करोड़ किसान हैं। खाद्य सुरक्षा कानून के तहत 82 करोड़ हिंदुस्तानियों को राशन देना अनिवार्य है। कई अन्नपूर्णा योजनाएं और दूसरी योजनाएं हैं। जब किसानों से सीधे सरकार अनाज नहीं खरीदेगी तो फिर राशन दुकानों पर सस्ता अनाज कैसे मिलेगा?' कांग्रेस नेता ने दावा किया कि आने वाले समय में कुछ बड़े औद्योगिक समूह अनाज के दाम तय करेंगे और लोगों को महंगे दामों में अनाज मिलेगा।

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8 दिसंबर को भारत बंद का आह्वान
केन्द्र सरकार के तीन नये कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसानों ने आठ दिसम्बर को ‘भारत बंद’ का शुक्रवार को ऐलान किया और धमकी दी यदि सरकार उनकी मांगे नहीं मानती है तो वे राष्ट्रीय राजधानी पहुंचने वाली और सड़कें बंद कर देंगे। सरकार के साथ कल होने वाली पांचवें दौर की बातचीत से पहले किसानों ने अपना रूख और सख्त कर लिया है।

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किसानों को है ऐतराज
सूत्रों ने अनुसार सरकार ने गतिरोध खत्म करने के लिए उन प्रावधानों का संभावित हल तैयार कर लिया है जिन पर किसानों को ऐतराज है। किसानों ने भावी कदम तय करने के लिए दिन के समय बैठक की। बैठक के बाद किसान नेताओं में एक गुरनाम सिंह चडोनी ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि यदि केंद्र सरकार शनिवार की वार्ता के दौरान उनकी मांगों को स्वीकार नहीं करती है, तो वे नए कृषि कानूनों के खिलाफ अपने आंदोलन को तेज करेंगे।

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यूनियन के महासचिव ने कही ये बात
भारतीय किसान यूनियन के महासचिव हरिंदर सिंह लखवाल ने कहा, ‘आज की हमारी बैठक में हमने आठ दिसम्बर को ‘भारत बंद’ का आह्वान करने का फैसला किया और इस दौरान हम सभी टोल प्लाजा पर कब्जा भी कर लेंगे।’ उन्होंने कहा, ‘यदि इन कृषि कानूनों को वापस नहीं लिया गया तो हमने आने वाले दिनों में दिल्ली की शेष सड़कों को अवरूद्ध करने की योजना बनाई है।’

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