नई दिल्ली/टीम डिजिटल। वर्ष 2002 के गुजरात दंगों पर बीबीसी के एक वृत्तचित्र को अवरुद्ध करने के केंद्र के फैसले को चुनौती देते हुए बृहस्पतिवार को उच्चतम न्यायालय में एक नयी जनहित याचिका दायर की गई।
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शीर्ष अदालत इस मुद्दे पर वरिष्ठ पत्रकार एन राम, तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा, वकील प्रशांत भूषण और वकील एम एल शर्मा द्वारा दायर दो याचिकाओं पर पहले से ही सुनवाई कर रही है। गत तीन फरवरी को न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति एम एम सुंदरेश की पीठ ने दो याचिकाओं पर संज्ञान लिया था और केंद्र सरकार को निर्देश दिया था कि वह वृत्तचित्र को अवरुद्ध करने के अपने फैसले से संबंधित मूल रिकॉर्ड पेश करे।
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मामले अब अप्रैल में सुनवाई के लिए सूचीबद्ध हैं। तीसरी नयी याचिका खुद को सामाजिक कार्यकर्ता बताने वाले मुकेश कुमार ने वकील रूपेश सिंह भदौरिया और मारीश प्रवीर सहाय के माध्यम से दायर की है। वकील भदौरिया भारतीय युवा कांग्रेस के कानूनी प्रकोष्ठ के प्रमुख भी हैं।
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