Wednesday, Mar 22, 2023
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modi government''''''''s budget 2022 is very courageous! learn features

बड़े साहस वाला है मोदी सरकार का बजट 2022! जानें खूबियां

  • Updated on 2/2/2022

नई दिल्ली/ अरुण कुमार पांडेय। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सरकार का नए बजट को बड़े साहस वाला क्यों कहेंगे? इसकी वजह यह है कि हालात ‘एक तो करेला, ऊपर से नीम चढ़े’ जैसे हैं। लेकिन फिर भी वित्तमंत्री ने बहादुरी का नजारा पेश किया है। जो लोग अर्थव्यवस्था को समझते हैं, वे मोदी सरकार को इस बजट के बाद सिंघम भी मान सकते हैं। मैं ऐसा क्यों कह रहा हूं? इसकी तीन वजहें हैं-

1. पांच राज्यों में चुनाव हैं और बीजेपी का बहुत कुछ, खासतौर पर यूपी में दांव पर लगा है। इसके बावजूद मोदी सरकार ने लोगों को नाखुश करने का जोखिम उठाया।
2. घरेलू इकोऩामी कोरोना वायरस का डंक झेल रही है, आगे भी जोखिम है।
3. किसानों के भावनात्मक मुद्दे पर कोई और सरकार होती तो शायद कमजोर पड़कर कोई बड़ा ऐलान कर सकती थी, लेकिन वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण को मोदी की तरफ से पूरा सपोर्ट मिला। 

ऐसे बजट के लिए बहादुर होना जरूरी

एक उद्योगपति ने कई साल पहले बताया था कि भारत में ‘ईज ऑफ डूइंग’ के रास्ते की बड़ी अड़चन अक्सर बजट ही होता है। मैंने पूछा कैसे? उनका जवाब था कि देश ज्यादातर चुनाव के मोड में रहता है। ऐसे में चुनावों के दौरान बजट में सरकारों के घुटने कमजोर हो जाते हैं। इसलिए नरेंद्र मोदी को मैं साहसी और बहादुर प्रधानमंत्री कहूंगा, क्योंकि वोट लेने के चक्कर में उन्होंने खास वर्ग को संतुष्ट करने की कोशिश नहीं की। बल्कि लंबी अवधि और सुनहरे भविष्य के लिए बजट तैयार करवाया।

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उद्योगपति अक्सर कहते हैं कि सरकार की आर्थिक नीतियों में निरंतरता होनी चाहिए तभी देशी और विदेशी निवेशकों को अर्थव्यवस्था में भरोसा जमता है। कोई भी उद्योगपति दो हजार करोड़, पांच हजार करोड़ रुपए का निवेश तभी करता है जब उसे यकीन हो कि हर साल बजट में नियम कानून नहीं बदले जाएंगे।

पहले बजट में स्टील सेक्टर में निवेश के लिए टैक्स छूट का ऐलान होता था और जब तक उद्योगपति ने फैक्ट्री के लिए जमीन तलाशी, नियम कानून समझे तब तक अगला बजट आ जाता था और वित्तमंत्री ऐलान करते थे कि अब स्टील प्लांट को छूट कैंसिल, अबकी बार फर्टिलाइजर प्लांट को टैक्स हॉलीडे देंगे। फिर वही होता था जब तक फर्टिलाइजर प्लांट लगाने के लिए जमीन मिल पाती थी तब तक अगला बजट जा जाता था। 

नए बजट की कुछ विशेषताएं 

- मोदी सरकार के इस बजट की सबसे बड़ी बात यही है कि ये नए जमाने का बजट है। जैसे सरकार जानती है कि क्रिप्टो करेंसी के अस्तित्व को स्वीकार करना ही होगा इससे मुंह मोडऩे से काम नहीं चलेगा इसलिए इसे सिस्टम में लाने के लिए टैक्स के दायरे में लाया गया है। 

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- इसके अलावा रिजर्व बैंक को डिजिटल करेंसी लॉन्च करने की जिम्मेदारी दी गई है। इसे अंग्रेजी में प्रीएम्टिव स्ट्राइक मतलब खतरे के पहले भांपकर उसे दूर करने के कदम उठा लेना। रिजर्व बैंक के रेगुलेटर होने से डिजिटल फ्रॉड को रोकने में भी बड़ी मदद मिलेगी। 

- इंफ्रास्ट्रक्चर में बड़े पैमाने पर निवेश अर्थव्यवस्था को गति देगा। जैसे 80 लाख मकानों पर काम शुरू होना प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष दोनों तरह के रोजगार देगा और सिस्टम में करोड़ों रुपए झोंकेगा। 

- लोगों को बजट की बारीकियां पकडऩे में दिक्कत इसलिए हो रही है क्योंकि उनकी आदत पड़ गई है कि इनकम टैक्स में मामूली छूट को ही बजट मानना चाहिए। 

- किसानों के लिए एमएसपी बढ़ाने के रोडमैप का इंतजार कर रहे लोगों के लिए निराशा वाला बजट हो सकता है। लेकिन किसानों की वास्तव में आय बढ़ाने के लिए नए तरीके जैसे ऑर्गेनिक खेती और फसलों में विविधता वाला आइडिया ज्यादा बेहतर है।

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