नई दिल्ली/टीम डिजिटल। आइडिया सेल्यूलर और वोडाफोन इंडिया के बीच विलय प्रक्रिया पूरी हो गई है। इसके साथ यह देश की सबसे बड़ी दूरसंचार कंपनी भी बन गई है। इनके ग्राहकों की संख्या 40.8 करोड़ है। दोनों कंपनियों ने आज एक संयुक्त बयान में कहा कि विलय के बाद बनी ‘वोडाफोन आइडिया लि.’ के लिए नया निदेशक मंडल बनाया गया है। इसमें 12 निदेशक (6 स्वतंत्र निदेशक शामिल) और कुमार मंगलम बिड़ला उसके चेयरमैन होंगे।
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बोर्ड ऑफ डायरेक्टर ने बालेश शर्मा को सीईओ (मुख्य कार्यपालक अधिकारी) नियुक्त किया है। कंपनी के पास इंकम के हिसाब से 32.2 फीसदी बाजार हिस्सेदारी होगी और 9 दूरसंचार सर्किल में पहले पायदान पर होगी। दोनों ब्रांड वोडाफोन और आइडिया ब्रांड बने रहेंगे। दिग्गज कंपनी वोडाफोन आइडिया लिमिटेड अपने व्यापक आकार के साथ भारती एयरटेल को पीछे छोड़ देगी, जो फिलहाल देश की सबसे बड़ी दूरसंचार कंपनी है।
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रिलायंस जियो के बाजार में आने के साथ दूरसंचार कंपनियों के बीच प्रतिस्पर्धा तेज हुई है। कंपनी का ब्राडबैंड नेटवर्क 3.4 लाख साइट जबकि वितरण नेटवर्क 17 लाख होगा। बयान के मुताबिक, 'विलय से सालाना 14,000 करोड़ रुपये की आय सृजित होने का अनुमान है...।' कंपनी का शुद्ध कर्ज 30 जून 2018 को 1,09,200 करोड़ रुपये था।
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इस विलय के साथ 2 लाख मोबाइल साइट और करीब 2.35 लाख किलोमीटर फाइबर के साथ 1,850 मेगाहट््र्ज का व्यापक स्पेक्ट्रम पोर्टफोलियो होगा। इससे यूजर्स को बातचीत और ब्राडबैंड के मामले में पहले से बेहतर सर्विस मिल पाएगी। कुल मिलाकर यह देश की 92 फीसदी आबादी को ‘कवर’ करेगी और इसकी पहुंच 5,00,000 शहरों और गांवों में होगी।
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आदित्य बिड़ला ग्रुप और वोडाफोन आइडिया लिमिटेड के चेयरमैन कुमार मंगलम बिड़ला ने कहा, 'आज हमने देश की सबसे बड़ी दूरसंचार कंपनी सृजित की है। वास्तव में यह ऐतिहासिक क्षण है...वोडाफोन आइडिया के रूप में हम अंतरराष्ट्रीय साख, पैमाना और मानदंड वाली कंपनी के लिए पार्टनरशिप कर रहे हैं।'
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नई कंपनी के सीईओ बालेश शर्मा ने कहा, 'हम अपने खुदरा और कंपनी ग्राहक दोनों को बेहतर सर्विस देने को लेकर प्रतिबद्ध हैं। हम उनकी उभरती डिजिटल और संपर्क जरूरतों को नए उत्पादों, सेवाओं और समाधान के जरिए पूरा करेंगे।'
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आइडिया ने नियामकीय सूचना में कहा कि विलय से जुड़ी सभी औपचारिकताओं के बाद कंपनी का नाम वोडाफोन आइडिया लि. होगा। विलय बाद आइडिया सेल्यूलर की चुकता शेयर पूंजी बढ़कर 8,735.13 करोड़ रुपये होगी। हसमुख कपानिया आइडिया सेल्यूलर के मैनेजिंग डायरेक्टर के पद से 31 दिसंबर 2018 से हट गए हैं, लेकिन वह नई कंपनी में गैर-कार्यकारी निदेशक होंगे।
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