नई दिल्ली/ टीम डिजिटल। एशिया के सबसे बड़े गाजीपुर कुक्कुट बाजार से लिए गए सभी 100 नमूनों में बर्ड फ्लू (Bird Flu) नहीं होने की पुष्टि हुई है। राष्ट्रीय राजधानी में कौवों और बत्तखों के नमूनों में बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के तीन दिन बाद ये परिणाम आए हैं। कौवों और बत्तखों के नमूनों में बर्ड फ्लू की पुष्टि के बाद दिल्ली सरकार ने सोमवार को शहर के बाहर से लाए जाने वाले प्रसंस्कृत एवं पैकेटबंद ‘चिकन’ की बिक्री पर रोक लगा दी थी।
Pongal 2021: पोंगल कार्यक्रम में शामिल होने मदुरै पहुंचे राहुल गांधी 10 दिन के लिए पोल्ट्री बाजार हुआ बंद सरकार ने एहतियात के ताौर पर 10 दिन के लिए पोल्ट्री बाजार भी बंद कर दिया था। पशुपालन इकाई के वरिष्ठ अधिकारी राकेश सिंह ने कहा कि बुधवार को 104 नमूनों के परिणाम आए। इनमें 100 नमूने गाजीपुर मंडी में 35 पोल्ट्री पक्षियों के थे। सभी नमूनों के संक्रमित नहीं होने की पुष्टि हुई है। उन्होंने कहा कि इसका अर्थ यह हुआ कि दिल्ली में पोल्ट्री पक्षियों में एवियन इंफ्लूएंजा नहीं फैला है।
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भोपाल की प्रयोगशाला भेजे गए नमूने सिंह ने बताया कि इसके अलावा, बगुलों के चार नमूने हस्तसाल पार्क से लिए गए थे और इनमें संक्रमण की पुष्टि होने की आशंका है। उन्होंने बताया कि ये नमूने जांच के लिए जालंधर स्थित प्रयोगशाला से भोपाल भेजे गए हैं। उल्लेखनीय है कि राष्ट्रीय राजधानी में बर्ड फ्लू की स्थिति को देखते हुए दिल्ली के तीनों नगर निगमों ने दुकानों और रेस्तरां के पोल्ट्री या प्रसंस्कृत‘चिकन’बेचने तथा रखने पर बुधवार को तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी। अधिकारियों ने पहले कहा था कि कि मयूर विहार फेज-3, संजय झील और द्वारका सेक्टर नौ से लिए गए 10 नमूनों में बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई थी। संजय झील में सोमवार को बत्तखों को मारा गया, जहां कई बत्तखें मृत पाई गई थीं। Pongal 2021: पोंगल कार्यक्रम में शामिल होने मदुरै पहुंचे राहुल गांधी
प्रवासी पक्षी फैलाते हैं बीमारी पशुपालन एवं डेयरी मंत्रालय के अनुसार भारत में बर्ड फ्लू के फैलने की मुख्य वजह प्रवासी पक्षियों को ही माना जाता है। दूसरी वजह संक्रामक वस्तुओं- जब कोई व्यक्ति किसी संक्रमित क्षेत्र से कपड़ा,सामान आदि वस्तु लेकर अपने यहां पहुंचता है।वैसे केंद्र सरकार ने बर्ड फ्लू को रोकने के लिये 2005 में ही एक्शन प्लान की घोषणा की थी। जिस पर आज भी सरकार अमल करती है। वैसे बर्ड फ्लू का पहला केस 1997 में सामने आया था। पक्षियों से संपर्क होने से बर्ड फ्लू के खतरे ज्यादा रहते है। इसकी पुष्टि हो चुकी है। कोरोना काल में एक तरफ सरकार वैक्सीन को जन-जन तक पहुंचाने की कोशिश तेज करने में जुटी हुई है। तभी बर्ड फ्लू के शुरु होने से खतरा और बढ़ा दिया है।
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