दिल्ली की एक अदालत ने मंगलवार को पुलिस को निर्देश दिया कि उत्तर-पूर्वी दिल्ली में दंगों के एक मामले में 10 आरोपियों के पिछले साल 20 से 28 फरवरी के कॉल डिटेल रिकॉर्ड (सीडीआर) सुरक्षित रखा जाए। मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट दिनेश कुमार ने कहा कि आरोपियों के मोबाइल
दिल्ली की एक अदालत ने जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) के पूर्व छात्र नेता उमर खालिद (Omar Khalid) की उस याचिका को खारिज कर दिया है जिसमें उसने पुलिस हिरासत के दौरान अपने परिवार से मिलने की इजाजत मांगी थी। उमर को सख्त आतंकवाद रोधी कानून, गैर कानूनी गतिविधि (रोकथाम)
माकपा (CPIM) ने जेएनयू के पूर्व छात्र उमर खालिद की गिरफ्तारी की सोमवार को निंदा की और आरोप लगाया कि दिल्ली दंगा मामले में छात्रों की गैर कानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (UAPA) के तहत गिरफ्तारी ‘‘असहमति के लोकतांत्रिक अधिकार की संवैधानिक गारंटी’’ पर एक हमला है। जवाहरलाल नेहरु
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